वनआईडी ने ऐसा लॉगइन बनाया है, जिसमें यूजर को यूजर नेम, पासवर्ड, क्रेडिट कार्ड नंबर वगैरह डालने की कोई जरूरत नहीं है। बस एक क्लिक करके आप अपने तमाम अकाउंट हैंडल कर सकते हैं। इसकी खूबी यह भी है कि इसे हैक करना भी एकदम मुश्किल है, क्योंकि वनआईडी में डेटा स्टोरेज की कोई सेंट्रलाइज्ड व्यवस्था नहीं है।
30 साल के अनुभव से लैस सिलिकॉन वैली के कारोबारी स्टीव किर्श ने यह ईजाद किया है। उन्हें उम्मीद है कि यह वेब की दुनिया में नई क्रांति ला देगा। वह वनआईडी के जरिए अपने 352 यूजर नेम और पासवर्ड वाले अलग-अलग अकाउंट्स हैंडल करना चाह रहे हैं।
यूजर नेम और पासवर्ड मॉडल काफी असुविधाजनक है। तमाम अकाउंट्स के यूजर नेम-पासवर्ड याद रखना टेढ़ी खरी है। अगर आप अपने सभी अकाउंट्स के यूजर नेम-पासवर्ड एक ही रखें तो सुरक्षा में सेंध का जोखिम कई गुणा बढ़ जाता है। इसी मुश्किल को ध्यान में रख कर किर्श ने मल्टी-डिवाइस वेरिफिकेशन सिस्टम विकसित किया है, जिसमें पासवर्ड की कोई जरूरत नहीं है।
वन आईडी किसी भी यूजर की गुप्त सूचनाओं को पूरी तरह सीक्रेट रखती है। इसे हैक कर पाना बहुत मुश्किल होता है क्योंकि इसका कोई पासवर्ड नहीं होता और न ही सेंट्रलाइज्ड डेटा स्टोरेज होता है। कोई भी हैकर ईमेल आईडी या कोई इंटरनेट एकाउंट हैक करने के लिए यूजरआईडी और पासवर्ड का इस्तेमाल करता है लेकिन यहां ऐसा कुछ नहीं है।
ऐसे काम करता है वन आईडी
वन आईडी किसी भी यूजर को उसकी एक्टिव डिवाइस और कंट्रोल डिवाइस की मदद से पहचानती है। एक्टिव डिवाइस वो होती है जिसे कोई भी यूजर अपना खाता खोलने के लिए इस्तेमाल करता है। मसलन टैबलेट या कंप्यूटर। अपना आईडी डालने के बाद कंप्यूटर यूजर के सेलफोन पर एक पिन भेजता है जो हर बार लॉगिन करने पर अलग अलग होता है। यह पिन पासवर्ड नहीं होता और डेटाबेस में जमा नहीं होता। ज्यादातर हैकर्स खाता खोलने के लिए अलग-अलग नंबरों का इस्तेमाल करते हैं, लेकिन वन आईडी में हर बार अलग पिन नंबर होने के कारण इसे हैक कर पाना नामुमकिन है।
अगर कोई यूजर वन आईडी के जरिए कहीं पेमेंट करना चाहता है तो भी वह सुरक्षित है क्योंकि वन आईडी में क्रेडिट कार्ड नंबर कूट भाषा में दर्ज होता है जिसे हैक नहीं किया जा सकता।
source:bhaskar.com
यूजर नेम-पासवर्ड के बिना एक क्लिक से हैंडल होंगे आपके सारे वेब अकाउंट
Reviewed by naresh
on
Friday, April 27, 2012
Rating:
No comments: